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कामुक आग कहाँ लगती है और कैसे भड़कती है? आपके मैजिक स्पॉट्स पे AOI के फंडे!

एरोजेनॉस ज़ोन्स यानि कामोत्तेजना भरे अंगों पर AOI का नया गाइड |

"आह! उफ़! वहां छूने से कुछ-कुछ होता है!" कभी ना कभी तो आपने कुछ ऐसा महसूस किया ही होगा। जब बाय चांस या जानबूझकर, कोई आपके बदन के किसी  हिस्से  को छू ले, और आपके तन बदन में आग लग जाये। 'ओह, ना जाने क्या हुआ, तूने जो वहां छूआ' आपको तब तक पता ही नहीं होता कि वो आपके बॉडी का मैजिक स्पॉट है। और उस मीठी छुअन से ऐसी सनसनाहट हो, पूरे बदन में तरंग सी फैल जाए जी एजेंट्स, छुअन जहां पे मीठी होती है ना, वही आपके मैजिक स्पॉट हैं। यहां छूने से आपके बदन में कामोत्तेजना जगती है। अंग्रेज़ी में उन्हीं स्पॉट्स को ईरोजेनस ज़ोन/ erogenous zone  कहते हैं।

 ईरो .. क्या? है क्या ये?

 

  ईरो - ग्रीक में 'कामुक प्यार ' + 'जीनस' यानी जो पनपे बोलें तो आपके बदन में 'वो' वाली फीलिंग्स के पते । वो जगहें जहां बड़ी सारी तंत्रिकाओं के रिसेप्टर होते हैं l जो छुए जाने पे हमें सिरहन देते हैं, सिग्नल भेजते हैं कि आपकी कामुक आग ‘औन’ होने लगी है ! वो गाना है न - सारे बदन में ज़हर चढ़ गया।  

अच्छा! तो ये सेक्सी स्पॉट ढूंढे कैसे जाएं? कोई मैप है क्या?

  वैसे तो हमारे पूरे बदन में ईरोजेनस ज़ोन भरे पड़े हैं। क्योंकि बदन में तंत्रिका के रिसेप्टर्स का एक बड़ा सा सिस्टम है। अलग-अलग तरह के स्पर्श, तापमान, नमी वगैरा जो भी हो, यही तंत्रिकाएं तो दिमाग तक सिग्नल पहुंचाती हैं। बदन के जिन भागों पर नर्वस रिसेप्टर इकट्ठा होते हैं, वही दिमाग को आगे के सिग्नल भेजते हैं। जिससे हमें रिलैक्स महसूस हो या हम सेक्सुअल कल्पनाएं करने लग जाएं, उत्तेजित हो जाएं या उन्माद का सुख प्राप्त कर पाएं। तो अगर आप खुद में या किसी दूसरे में ऐसे लुभावने स्पॉट्स ढूंढ रहे हैं, तो ये है आपके लिए एक जरूरी फंडा। डेविड गिन्न्टी, न्यूरोसाइंस के एक प्रोफेसर कहते हैं-

"स्पर्श सिर्फ हाँ या ना का मामला नहीं । ये और जटिल  है और हम अब धीरे-धीरे समझने लगे हैं कि इन सारे सिग्नल को कैसे पढ़ा जाता है।!"

दूसरे शब्दों में, हमारी बाकी कई चीजों की तरह, स्पर्श के बड़े सारे पहलू हैं। ये एक विस्तार है। बदन में एक सनसनाहट आपको मीठी चुभन भी दे सकती है, तो प्रेम अगन भी । कितना/ कैसा असर होगा, ये इन बातों पे निर्भर करता है -

  बदन की बनावट- एक जगह पर तांत्रिका के कितने सिरे/रिसेप्टर/नर्व एंडिंग जमा हैं। त्वचा कितनी बारीक है! और बाल (क्यूंकि रोम-रोम नसों से घिरे होते हैं) परिस्थितियाँ - जगह, आकर्षण, शारीरिक रूप से कम्फर्ट संदर्भ - स्पर्श के कई तरीकों की कल्चरल रूप से मंजूरी, वो ख़ास पल आपसी संबंध - आकर्षण, आपसी लगाव, मंज़ूरी, अंतरंगता का लेवल व्यक्तिगत पहलू- हर किसी का बदन  अलग-अलग रूप से संवेदनशील होता है।और अलग-अलग बदन को अलग-अलग छुअन पसंद या नापसन्द हो सकती है।    

समझ आ गया! अब बताओ इस मीठी सनसनाहट को पाने के लिए जाएं तो जाएं कहां?

   कामोत्तेजक ज़ोन/मैजिक स्पॉट जननांग के हिस्से भी हो सकते हैं और नहीं भी।   मैजिक स्पॉट को विशेष रूप से सेक्स के साथ जोड़ा जा सकता है। उदाहरण के लिए, स्तन या जननांग, जिन्हें छूना, लगभग हमेशा ही सेक्सुअल अंतरंगता का लक्षण माना जाता है। ये बदन की ऐसी जगहें भी हो सकती हैं जो ख़ास सेक्स से नहीं जुड़ीं   यानी यहां छुए जाने पे जो आनंद मिलता है, उसके रंग बदलते हैं l  ये रंग माहौल, संदर्भ, आपके आपसी संबंध या उस खास पल के हिसाब से बदलते हैं l उदाहरण के तौर पे, आप अपने बच्चे के गाल को प्यार से छूते हैं या फिर अपने प्रेमी के, दोनों के मतलब और असर, अलग-अलग होते हैं। भले ही दोनों केस में बदन का वही हिस्सा छूआ गया हो। इसलिए, अगर आप बदन  पर पूर्ण रूप से फैले हुए मैजिक स्पॉट की तलाश में निकले हैं, तो आपके कई तरीकों के अनुभव हो सकते हैं। आप इंस्टा पे पर बार बार टूरिस्ट की तरह फ़ोटो डालने वाले हो सकते हैं - यानी जो हमेशा जानी पहचानी जगह पे ही जाना पसंद करता है, बदन के सन्दर्भ में भी। या फिर आप एक पक्के मुसाफिर हो सकते हैं - जो बदन के कम लोकप्रिय, लेकिन आनंद देने वाले क्लासिक हिस्सों की तरफ जाता है। या आप हो सकते हैं सेक्स की दुनिया के एकाग्र खोजी, जो हर संकेत को पढ़ता है, जो अपने साथ-साथ सामने वाले और उसके बदन, दोनों का भूगोल, इतिहास, संस्कृति सब छान निकालता है।  तो चले चलो!  

  कुछ वजहों से हम सब के बदन के कुछ हिस्से खास ईरोजेनस माने जाते हैं। कुछ वो हिस्से जहां तंत्रिकाओं के मजबूत जोड़ होते हैं, क्योंकि वहां नर्व और टिश्यू का संग्रह होता है। कुछ वो हिस्से, जो पोर्न के कारण फेमस हो गए हैं। कुछ जो कल्चर हमें बताता है कि देखो भाई, ये ईरोजेनस है। और कुछ तो पड़ोसियों की चर्चा से भी निकल आते हैं। 

वा-वा- वल्वा (vulva मतलब योनि मुख)

हम अक्सर औरतों के जननांग के बाहरी हिस्से के लिए 'योनि' शब्द का इस्तेमाल करते हैं। लेकिन जो शब्द हम यहां ढूंढ रहे हैं, वो हैवल्वा’। जो दिखाता है जलवा इसमें अलग-अलग संवेदनशील लेकिन फेमस मैजिक स्पॉट् होते हैं।

योनि विला (villa)

पितृसत्ता की की ये धुन होती है कि सेक्स में लिंग को योनी में प्रवेश करना ही चाहिए l मुख्यधारा पोर्न में इसका जूनून है l दोनों को देखकर हमें लगता है, कि कोई यूं सोचेगा कि सेक्स के दौरान जो भी हलचल हो सकती है, वो योनि सुरंग के अंदर ही संभव है। लेकिन असल में,योनी की गुफा की ओर बढ़ते हुए, उसके आस पास के एरिया में जिसे तीसरा छोर कह सकते हैं, वो आपका संवेदनशील अंग  है। कोमलता से छुए जाने पे ये आग लगाने में माहिर है। तो, प्लीज़, इधर-उधर उंगलियां घुसाने से अच्छा है कि यहां ध्यान दिया जाए। ठीक है?

भ से भगशेफ यानी कामोत्तेजक बटन

दुनिया का आठवां आश्चर्य, यह  भगशेफ मानव बदन का एकमात्र अंग है जो सिर्फ आनंद देने के लिए बना है ! इसमें 8000 से अधिक तंत्रिका के सिरे होते हैं - लिंग/पिनिस से दो-गुना। जबकि वो उससे कितना छोटा है l वैसे तो ये बस एक मोती जितने आकार का होता है, पर अगर सही से छुआ जाए, तो पूरे वल्वा में सनसनाहट पैदा कर देता है। अफसोस की बात है कि सेक्सुअल मैप में शायद ही इसका कहीं जिक्र होता है। सेक्स के मानचित्र भी अक्सर इसका ज़िक्र नहीं करते (बेवकूफ! औरतों के आनंद का भी तो सोचो?) खैर, आप इसे जरूर ढूंढना!

लेबिया (labia- भगोष्ठ)

लेबिया मेजर/major, यानि कि योनि प्रवेश पे जो होंठ सा आकार होता है उसका ऊपरी हिस्सा। आमतौर पर वो मांसल और बालों से ढका होता है।  लेबिया मिनोरा/minora यानी कि अंदर वाला होंठ आकार का हिस्सा, वो आमतौर पर चिकना और बाल रहित होता है। वो बहुत ज्यादा संवेदनशील तो नहीं होता है, पर उन शुरुआती पलों में सहलाने के लिए ठीक है। उत्तेजना जैसे-जैसे बढ़ती है, वो थोड़ा फूल जाता है। 

G स्पॉट मार्क करें

G से G- स्पॉट! जो कि दरअसल गुमशुदा स्पॉट है इस मामले में वैज्ञानिकों की भी अलग-अलग धारणा  है। कुछ कहते हैं कि अगर जी-स्पॉट है, तो भई कहां है? और कुछ मानते हैं कि वो भगशेफ का ही बढ़ा हुआ भाग है। वैसे कथित तौर पर, यह योनि की सुरंग के कुछ 5-8 सेमी अंदर होता है। ये जीभ की तरह स्पंजी/थोड़ा मोटा और मुलायम महसूस होता है। और अगर ये उत्तेजित हो जाए, तो बस तहलका मच जाए। हालाँकि, कुछ औरतों के पास शायद G स्पॉट ना भी हो। पर अगर आपके पास है तो आप एक एक दिन उसका पता ज़रूर लगा लेंगे।

पिनिस पैलेस/Penis palace

हम लिंग/पिनिस को एक वस्तु की तरह देखते हैं। उसकी लंबाई, नाप और खड़े हो पाने/erection की क्षमता के बारे में सोचते हैं। यानि कि हम उसे एक परफॉर्म करने वाला उपकरण मानते हैं ।  लेकिन यार, उसकी जियोग्राफी भी कमाल की है और उस आनंद महल के भी कई दरवाजे हैं।

लिंग की टिप/ऊपरी नोंक (टिप-टिप बरसा पिनिस)

पिनिस की मुंड या चोटी पर नसों का सबसे अधिक जमावड़ा होता है।आमतौर पर, अगर कोई खतना-रहित हो (uncircumcised- जिसके पिनिस की ऊपरी चमड़ी निकाली ना गई हो), तो उसका लिंगफोरस्किन/ऊपरी चमड़ी से ढका होता है। (हालांकि खतना हुआ हो या ना हुआ हो, उसका सेक्सुअल आनंद से कुछ लेना-देना नहीं है) जहां लिंग का सर, उसके छड़ से मिलता है, वहीं आनंद का स्पॉट है ! 

शाफ्ट/shaft या लिंग की लंबाई वाला हिस्सा

हालांकि ये पिनिस का सबसे बड़ा हिस्सा है, लेकिन इसमें सबसे कम नर्व के सिरे होते हैं। इसलिए यहां कुछ एक्शन चाहिए, तो मज़बूत पकड़ लगती है। यहां की स्किन पिनिस की उत्तेजना के हिसाब से सख्त या मुलायम होती है।

छाती में खज़ाना

छाती अलग-अलग तरीकों से संवेदनशील होती है। सपाट किनारे से निप्पल के घुमाव तक! आप मर्द हों या औरत, अनुभव एक सा होगा। यहाँ के बाल तो और भी संवेदनशील होते हैं, क्योंकि हर बाल का कूप/follicle तंत्रिकाओं के रिसेप्टर्स से घिरा होता है।

ब्रेस्ट ऑफ लक 

पूरे स्तन या छाती में तंत्रिका के सिरे, एक ही मात्रा में जमा होते हैं। चाहे साइज़ जो भी हो। इसलिए बड़े स्तनों को स्तन वाले हिस्से में उत्तेजित करने के लिए ज्यादा सहलाने की ज़रूरत होती है। निप्पल भी उन्हीं कणिकाओं से बने होते हैं, जिनसे जननांग बनते हैं। और इसलिए ये बहुत ज्यादा संवेदनशील होते हैं।एक स्टडी के हिसाब से, निप्पल सहलाने से 82% औरतों और 52% मर्दों में उत्तेजना बढ़ती हुई पाई गई है। उत्तेजित होने पर, ये निप्पल हर जेंडर में हार्मोन की भगदड़ मचा देते हैं। और यहां जन्म लेती है वर्ल्ड फेमस स्तनोन्माद - स्तनों वाला उन्माद/ अंग्रेज़ी में बूबगैम किसकी बॉडी का कौन सा हिस्सा कितना संवेदनशील है, उस हिसाब से सबके अनुभव अलग-अलग हो सकते हैं। किसी को जो स्पर्श बस एक छुअन लगे, दूसरे में वो आग लगा सकता है। ये समझें और फिर आगे बढ़ें। 

मेरे होंठों की बाती पढ़ो सजना

अगर सबसे ज्यादा उजागर ईरोजेनस ज़ोन की बात करें, तो वो हैं आपके होंठ।  उंगलियों की तुलना में 100 गुना ज्यादा संवेदनशील। असल में,जननांगों की तुलना में भी मुंह में काफी ज़्यादा तंत्रिकाओं के सिरे होते हैं। तो बस हिसाब लगा लो।   

 

जैसे कि एक शौकीन यात्री जानता है, सिर्फ उन जगहों को नहीं देखा जाता है जो फेमस हैं। बल्कि हमेशा खोज में रहना चाहिए। वैसे ही आनंद पाने के लिए निकले ग्राहक भी जानते हैं कि ईरोजेनस ज़ोन हर तरफ फैले हुए हैं। यानि जननांगों के आगे भी जीत है। अब आइए बदन के कुछ ऐसे हिस्सों की बात करते हैं जिनका थोड़ा कम प्रचार किया गया है। (वैसे बॉलीवुड फैन इनमें से कुछ तहलका मचाने वाली जगहों के बारे में ज़रूर  जानते होंगे) 

ज़रा कान इधर लाना

बाहर से नाजुक, अंदर नर्व रिसेप्टर्स का पूरा पैक, फुसफुसाने से, आह से, साँसों की गर्मी, बातों की नरमी से सनसना उठने वाले कान! और कान का वो निचला हिस्सा, जिसे काटने और चूसने  पे इस मैजिक स्पॉट में विस्फोट होने लगते हैं। 

OMG के लिए P डायल करें

ऐसा माना जाता है कि P स्पॉट यानि प्रोस्टेट ग्रंथि (जो मूत्रमार्ग के आस पास होती है), वो जगह है जहां आपको पूरे बदन को असीम आनंद वाला उन्माद मिल सकता है। ये मलाशय से पेट की तरफ लगभग 2 इंच ऊपर रहता है। ये आपको कुछ-कुछ अखरोट जैसा लगेगा।

फ्रेंनुलम से दोस्ती (frenulums- पिनिस का आखिरी सिरा जहां से फोरस्किन की चमड़ी उससे जुडी होती है )

पिनिस के नीचे क्या है? इलास्टिक जैसे टिश्यू का एक बैंड, जो फोरस्किन को ऊपर की ओर से एक सिकुड़न जैसा खुलाव देता है। ये यकीनन उत्तेजना बढ़ाने में बहुत ही ज्यादा कारगर है।

चलो बॉल खेलें! अंडकोष की थैली और अंडकोष

‘अबे! गोलों पे पे लग गयी’- यानी अंडकोष को दर्द से जोड़ा जाता है   लेकिन - वो त्वचा की थैली - जहां अंडकोष लटका होता है - जितना दर्द के लिए संवेदनशील है उतना ही आनंद के लिए भी। मुलायम पतली स्किन और कई नसों के घेरे के साथ। स्क्रोटल रैफ ( scrotal raphe)- एक पतली नस है, जो मर्दों के अंडकोश की थैली के बीच में रहती है, और उसमें सनसनी फैलाने की जोरदार संभावना देती है। चेतावनी - टेस्टिकल (अंडकोश की थैली में दो अंडाकार आकार की ग्रंथियां ) के आसपास की नसें ऊपर पेट तक जाती हैं। इसलिए वहां किसी भी तरह का जोर उल्टी जैसी फीलिंग पैदा कर सकता है। 

गुदा ग्रंथ

गुदा (anus) जहां से शुरू होता है, वहीं तंत्रिकाओं के अनगिनत सिरे होते हैं। और उसके बाद गुदा की सुरंग । चूसना या अनिलिंग्स यानि जीभ से गुदा को चाटना, किस करना, उंगली करना- ये सब इस हिस्से को उत्तेजित करने के तरीके हैं। लेकिन हाँ, यहां ये जरूरी है, कि आप धीरे-धीरे आगे बढ़ें, अपने पार्टनर की सहमति का ध्यान रखें। खासकर अलग कुछ करने या दांतों को काम में लाने का सोचने से पहले। इस बारे में और जानने के लिए हमारा गुदा सेक्स प्राइमर देखें।

पेरिनेम का आनंद

पेरिनेम - आपके जननांगों और गुदा के बीच की जो जगह है, वो है पेरिनियल नर्व का घर। इसको छू डाला तो लाइफ झिंगालाला।

SRK गली उर्फ ​​ नेक

शाहरुख प्रेमियों को तो ये पहले से ही पता है, तो आज आप भी जान लो। गर्दन का पिछला हिस्सा, जहां से आपके बाल शुरू होते हैं, वो घुमाव, कॉलरबोन - आनंद वाली जगहें हैं। यहां सिहरन पैदा करने वाली नसों के तार हैं। और सुनो- ये गर्दन इतनी संवेदनशील होती है, कि इसे छूने से वो औरतें भी उत्तेजित हो उठती हैं जिनकी रीढ़ की हड्डी में चोट हो।  इसके अलावा, ये कोई गुप्त अंग जैसा नहीं है, इसलिए आप पब्लिक जगहों पर भी इससे छेड़खानी कर सकते हैं (हां, अगर आपके पार्टनर को इससे आपत्ति ना हो)

नाभि नगर (और निचला पेट)

ये एक और स्पॉट है जिसके बारे में सब बॉलीवुड प्रशंसक जानने का दावा कर सकते हैं। निचली कमर के किनारों सहित पूरा धड़ , बहुत संवेदनशील होते हैं। नाभि वाले हिस्से में आप  तापमान से खेल सकते हैं। अगर आपके साथी को कोई दिक्कत ना हो तो बर्फ यहां कमाल दिखा सकती है।

कूल्हों में है जादुई बूटी

हमारे बदन   का सबसे बड़ा मांसल हिस्सा, जो नसों से भरा होता है। हमारे कूल्हे। जी, ये कोई मज़ाक नहीं। खासकर वो जगह, जहां जांघ कूल्हे के गाल से मिलती है, जिसे ग्लूटील फोल्ड/gluteal fold भी कहा जाता है, बहुत ही संवेदनशील - आग लगाने वाला स्पॉट है। ये बहुत से मर्दों को भी उत्तेजित करता है! तो बस थोड़ा उन कूल्हों के बालों को सेक्सी सहलाव देकर तो देखो!  

  इस सब पे सोच के आपने पुछा कि ‘ अपने बदन के उन जादुई हिस्सों की कोई लक्ष्मण रेखा है क्या?’ । आपसी मंज़ूरी, एक दूसरे को आश्वासन देना और ख़ैरियत पूछना-  ये लक्ष्मण रेखाओं को तो हम शायद पहचानते हैं। पर इनके अलावा, इस बात पर भी ध्यान देना चाहिए कि हर एक बदन चमत्कारों से भरा एक जहां है। हर एक बदन की अलग संवेदनशीलत है। तो अगर कोई सेक्स को एक बना बनाया पैकेज टूर नहीं, बल्कि एक सुंदर सफ़र मानता है, तो फिर बदन भी उत्तेजित होकर अपने सारे चमत्कार उसे दिखाएगा।

बिग बॉस, बोले तो अपना दिमाग

तो बजाओ शहनाइयाँ! यह अपने बदन का ऐसा संवेदनशील हिस्सा है, जिसकी सुपर हीरो जैसी शक्तियाँ हैं । यानिकि XXX-ray जैसी नज़र। इसकी एक वजह यह है, कि दिमाग हमारे बदन का हेडक्वार्टर है। और दूसरी वजह यह है, कि चूँकि दिमाग हमारी नज़र की उत्तेजना को कामोत्तेजना से जोड़ता है । यह बदन का सबसे बड़ा, कामोत्तेजक हिस्सा है। किसी और के सहलाये जाने को देखने से भी उत्तेजना के ढेर सारे सिग्नल दिमाग से बदन तक जाते हैं। तो इस बेबी को ख़ुश रखो और यह बेबी आपको ख़ुश रखेगी।

बाल, इधर, उधर, बदन भर

बदन के बाल संवेदनशील होते हैं, इसलिए वे कामुक ख़ुशी बढ़ाने में मदद कर सकते हैं। हर एक बाल त्वचा पर जहाँ से उगता है, वो पुटिका तंत्रिका के कोने, यानी उसके रिसेप्टर से, जुड़ी हुई होती है। जब आप बाल को हाथ लगाते हो तब वह स्पर्श बाल से होते हुए तंत्रिका के इस हिस्से तक पहुँचता है। यह हिस्सा आपकी त्वचा पे नहीं,  बल्कि बाल की पुटिका या फ़ॉलिकल के अंदर होता है। इसलिए आपके बदन पर बालों के ज़रिए, आप ढेर सारी चुभन, अगन और अलग अलग संवेदनाएँ महसूस कर सकते हो। पढ़ के क्या लग रहा है - अपने बालों को ढेर ढेर शुक्रिया करने का मन हो रहा है,न ?

जघन से होकर एक सफ़र

आपके जघन की हड्डी के ऊपर बालों के ढेर को जब सहलाया जाता है, तब जो खुशी की लहरें बदन में दौड़ती हैं, उनकी कल्पना करो! याद रहे, अपने गुप्तांगों को ब्रज़ीलियन वैक्सिंग के अलावा और भी गाने सुनाये जा सकते हैं, यार ।

यह सेक्रम है! (पीठ के नीचे का हिस्सा)

रीढ़ की हड्डी के सबसे निचले हिस्से पर जो त्रिकोण होता है, उसे सेक्रम कहते हैं। बस यह ख़याल कि बदन के पीछे से आपको कोई हाथ लगा रहा है, आपको उत्तेजित करने के लिए काफ़ी है। और यहाँ पर छोटे छोटे बाल हैं, जो इस जगह को और भी संवेदनशील बनाते हैं। रोमैंटिक फ़िल्मों में दिखाते थे न, कैसे उँगलियों कैसे उँगलियों को थोड़ा मोड़ के, उन जोड़ों से इस हिस्से को सहलाया जा सकता है - शायद जो पॉर्न फ़िल्मों वाले नहीं जानते थे , वो ये रोमांटिक फिल्म वाले लोग जानते थे?

खोपड़ी

दिमाग के इतने नज़दीक, इतनी सारी त्वचा, चेहरे की त्वचा, जिसे आप इतने सारे तरीक़ों मालिश कर सकते हो, सहला सकते हो, उसपे जुड़े बाल खींच सकते हो और थपथपा सकते हो... आप आपके साथी को चम्पी स्टाइल से भी उत्तेजित कर सकते हो! 

ओ स्पॉट

यह जगह गर्भाशय के ठीक नीचे, योनि के पीछे की दीवार से लगी हुई है 

ए स्पॉट

 यह जगह गर्भाशय के ठीक नीचे, योनि के सामने वाली दीवार से लगी हुई है

जहाँ गुदगुदी होती है

जिन जगहों में गुदगुदी होती है, वहां छूने से कामुक संवेदनाएँ भी होती हैं। आपको संयमित हाथ लगाना होगा, ताकि कामुकता हँसी के फुव्वारों में ना बदल जाए। यह रहीं ऐसी कुछ जगहें:

बांहों के अंदर और कलाई के अंदर की जगह

कलाई के अंदर की त्वचा बहुत पतली होती है, जिस कारण वहां हाथ लगाने से आप आपकी नब्ज़ महसूस कर सकते हो। बांहों के अंदर की जगह को उत्तेजित करने के लिए, अपने नाख़ून हलके से उस त्वचा पर घुमाओ।

काँखें

इस त्वचा को धीरे से छेड़ना ही आपको ज़्यादा आनंद देगा

हथेली और उँगलियों के पोर

हाथ और पैरों में ढेर सारी तंत्रिकाएँ होती हैं। क्या ये ताज्जुब की बात नहीं कि बहुत कम लोग इसके बारे में जानते हैं? वैसे हथेली के मांसल हिस्से को माउंड ऑफ़ वीनस (वीनस का ढेर) कहते हैं। अब जानते हो ना, ऐसा क्यों है।

घुटनों के पीछे

यह एक रहस्यमय जगह है जिसमें नज़र से दूर, ढेर सारी तंत्रिकाएँ जमा बैठी हैं।

जाँघ की अंदर का हिस्सा

जननांग के इतने नज़दीक होने की वजह से यह जगह बहुत संवेदनशील है जाँघ की वो जगह जहाँ धड़ और पैर मिलते हैं ,  मर्द और औरत, दोनों के लिए एकदम संवेदनशील जगह है

पैर, टखने और पैरों की उँगलियाँ

टखनों के अंदर और बाहर के हिस्से संवेदनशील होते हैं। यहाँ की कई तंत्रिकाएँ सीधी बदन के जननांग के जादुई हिस्सों,जैसे कि योनि, लिंग, गर्भाशय और प्रोस्टेट, से जा मिलती हैं । टखने की हड्डी के ठीक नीचे स्थित जगहें, अंडाशय और वीर्यकोष से मिलती हैं l इनकी ज़िम्मेदारी है उपजाऊपन बढ़ाना, कामवासना बढ़ाना और कामुक प्रदर्शन बढ़ाना। पैर के तलवों के बीच के और ऊपरी हिस्से, छाती से मिलते हैं। इस जगह को उत्तेजित करने से ब्रैस्ट और निप्पल उत्तेजित होते हैं। इसके अलावा, सहलाना, मालिश करना, चाटना, चूसना, सिर्फ़ एक जगह पर आप कितना कुछ कर सकते हो!  

 कुछ इधर उधर की 

थोड़े मजे मस्ती में किये गए सर्वे से ये पता चला कि कुछ आदमियों को अंगूठा बड़ा सेक्सी लगता है, क्यूंकि उससे उन्हें ब्लो जॉब ( पार्टनर के शिश्न को मुँह में लेना ) की कल्पना होने लगती है l( ये इसलिए हो सकता है  क्यूंकि अंगूठे पे हमारी चमड़ी कसी हुई होती है और इस वजह से संवेदनशील भी होती है ); उन्हें ठुड्डी और कमर - यानी पेट के निचले हिस्से से नाभि तक का एरिया मैजिक स्पॉट सा लगता है l   बदन के जादुई हिस्सों की यह सूची लंबी चौड़ी तो थी, लेकिन याद रहे, ऐसी कई सारी जगहें आपको अब भी खोजनी बाकी हैं। सेक्स ऐसा सफ़र है जिसमें हम ख़ुद के और दूसरों के बदन की मज़ेदार खोज करते जाते हैं। हमारे बदन की जादुई जगहें, सिर्फ़ तंत्रिकाओं का डिज़ाइन नहीं हैं । ये दरअसल इस बात का सबूत हैं कि इच्छा बदन, दिमाग और दिल, तीनों में घुली मिली है ।  

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